इटरनल (Eternal) ने अपनी क्विक-कॉमर्स ब्रांच ब्लिंकिट में अतिरिक्त 600 करोड़ रुपये का निवेश किया है, जो इस वर्ष कंपनी का तीसरा पूंजी निवेश है, क्योंकि यह भारत के तेजी से बढ़ती कॉम्पिटेटिव क्विक डिलीवरी मार्केट में विस्तार को गति दे रहा है।
कंपनी रजिस्ट्रार को हाल ही में दी गई जानकारी में इस फंडिंग का खुलासा किया गया है, जिसका उद्देश्य ब्लिंकिट की परिचालन क्षमता को मजबूत करना और इसकी विकास योजनाओं को गति देना है। प्लेटफॉर्म का लक्ष्य मार्च 2027 तक 3,000 डार्क स्टोर खोलना है, जो वित्त वर्ष 2026 की दूसरी तिमाही के अंत में दर्ज 1,816 से ज्यादा है।
यह नई इनवेस्टमेंट 2025 में पहले किए गए दो निवेशों के बाद है, जनवरी में 500 करोड़ रुपये और फरवरी में 1,500 करोड़ रुपये इनवेस्ट किए गए थे।
इटरनल के प्रवक्ता ने कहा "यह इटरनल की सहायक कंपनी बीसीपीएल में नियमित नकदी निवेश है, जो ब्लिंकिट के नेटवर्क विस्तार और विकास पहलों का समर्थन करने के लिए है, जिसमें परिचालन घाटा, कार्यशील पूंजी और पूंजीगत व्यय शामिल हैं।"
इस साल क्विक-कॉमर्स सेक्टर में धन उगाही की बाढ़ आ गई है। जेप्टो ने अक्टूबर में 7 अरब डॉलर के मूल्यांकन पर 45 करोड़ डॉलर हासिल किए, जबकि स्विगी को हाल ही में सार्वजनिक या निजी पेशकशों के जरिए ₹10,000 करोड़ जुटाने के लिए बोर्ड की मंजूरी मिली है। बिगबास्केट के इनोवेटिव रिटेल ने भी ₹200 करोड़ के ऋण वित्तपोषण के लिए डीबीएस बैंक से संपर्क किया है।
उपभोक्ताओं की पसंद ब्लिंकिट के पक्ष में झुकती दिख रही है। बैंक ऑफ अमेरिका के एक सर्वेक्षण में पाया गया कि यह भारत का सबसे ज्यादा इस्तेमाल किया जाने वाला क्विक-कॉमर्स प्लेटफॉर्म है, जहां 31% उत्तरदाताओं ने इसे अपना प्राथमिक ऐप चुना है, स्विगी इंस्टामार्ट (19%), फ्लिपकार्ट मिनट्स (14%) और जेप्टो (12%) से आगे है।