डेनिश आईवियर ब्रांड ऑर्ग्रीन ऑप्टिक्स ने ‘जीस इंडिया’ के साथ रणनीतिक साझेदारी के जरिए अपने मिनिमलिस्ट स्कैंडिनेवियाई डिजाइन दर्शन को पेश करते हुए औपचारिक रूप से भारतीय बाजार में प्रवेश किया है। कोपेनहेगन स्थित यह कंपनी, जो अपने स्वच्छ सौंदर्य और रंगों की बारीक कारीगरी के लिए जानी जाती है, यूरोप और उत्तरी अमेरिका में मजबूत पकड़ बनाने के बाद एशिया-प्रशांत क्षेत्र में अपनी उपस्थिति मजबूत करने का लक्ष्य रखती है।
फाउंडर और सीईओ हेनरिक ओरग्रीन ने कहा कि यह कदम कई वर्षों के मूल्यांकन के बाद उठाया गया है। प्रीमियम मूल्य संरचना और विशिष्ट स्थिति के साथ, ब्रांड ने अपनी शुरुआत से पहले सही बाजार परिस्थितियों का इंतजार किया। उन्होंने कहा "भारत में प्रवेश एक दीर्घकालिक निर्णय है। एक प्रीमियम उत्पाद के साथ एक प्रीमियम मूल्य भी आता है, इसलिए हमें यह सुनिश्चित करना था कि बाजार इसके लिए तैयार हो।" उन्होंने जोर देकर कहा कि कंपनी वैश्विक स्तर पर दीर्घकालिक वितरक साझेदारियों को प्राथमिकता देती है, जो ZEISS इंडिया को रणनीतिक रूप से उपयुक्त बनाती है।
ZEISS के साथ सहयोग एक साल से ज्यादा की चर्चा के बाद तय हुआ। ऑर्ग्रीन के अनुसार, भारतीय बाजार अब उन अन्य क्षेत्रों की तरह है जहां लग्जरी उत्पादों में रुचि बढ़ी है और उपभोक्ता डिजाइनर ब्रांडों की ओर तेजी से बढ़ रहे हैं। उन्होंने आगे कहा "हमने ZEISS के साथ मजबूत तालमेल देखा और दीर्घकालिक रणनीति के साथ यह सही समय लगा।"
ऑर्ग्रीन भारत में डिजाइनर आईवियर सेगमेंट में अपनी स्थिति मजबूत बनाएगी। साथ ही इसके कलेक्शन जो ज्यादातर जापान में बनाए जाते हैं, जिनकी कीमत ₹25,000 से ₹45,000 के बीच होगी, जिसमें एसीटेट, स्टेनलेस स्टील, टाइटेनियम और 3डी-प्रिंटेड फ्रेम शामिल हैं। कंपनी अपनी पहचान बनाने के लिए बड़े पैमाने पर मार्केटिंग खर्च के बजाय डिजाइन की गुणवत्ता पर भरोसा करती है।
डेनिश न्यूनतावाद को बोल्ड रंगों के साथ मिलाने के लिए मशहूर, ओरग्रीन का मानना है कि इसका सौंदर्यबोध विशिष्ट, शिल्प कौशल से प्रेरित आईवियर चाहने वाले भारतीय उपभोक्ताओं को पसंद आएगा। यह ब्रांड भारत में अपना नया ग्लोबल कलेक्शन भी पेश कर रहा है, जिसमें युवा दर्शकों के लिए ज्यादा एक्सप्रेसिव कलर्स शामिल हैं।
ऑर्ग्रीन ने कहा कि कंपनी बाजार की प्रतिक्रिया के आधार पर भविष्य के संग्रह को अनुकूलित करने के लिए तैयार है, लेकिन अपनी ‘डिजाइन- फर्स्ट’ पहचान पर कायम रहेगी।